दोस्त!!
- dj
- Aug 31, 2017
- 1 min read

जब दुनिया में चारो तरफ लगे थे मेले
फिर भी हम थे इस भीड़ में अकेले
तब कोई एक शक्स था जो हमारे करीब आया
खुद को जिसने हमारा दोस्त बताया
उसने मेरी तरफ दोस्ती का हाथ बढ़ाया
और मुझे अपनेपन का एहसास कराया
में कहता था वो दूर रहे मुझसे
पर न जाने में क्यू उनसे दूर नहीं रह पाया
पर वक्त गुजरता गया और हम करीब आते गए
एक दूसरे के साथ और जायदा वक्त बिताते रहे
आज वो मेरी जिंदगी का हिस्सा है
और उससे मेरा काफी करीब का रिस्ता है
आज में उसे अपना सबसे अच्छा दोस्त कहता हू
उसके बिना तो एक पल भी नहीं रहता हू
आखिर उसी ने तो मुझे दोस्ती का मतलब बताया
हर तरह की मुश्किलों में मुझे हंसना सिखाया
अब तो लगता है कि गर वो न हो तो जिंदगी दो पल की मेहमान है
और गर वो साथ है तो...............जिंदगी का हर पल आसान है !!
शानदार !! बहुत ही अच्छा लिखा है आपने :)
यूँही लिखते रहें